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18 साल बाद राहु बदल रहे हैं राशि,जानिए किस पर आने वाली है मुसीबत
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समाचार नाउ ब्यूरो | Publish Date:12:15:41 PM / Tue, Jan 5th, 2016 |
नवग्रह में स्थान प्राप्त राहू, ग्रह न होकर धरती पर पड़ने वाली छाया है। वैदिक ज्योतिष के दार्शनिक खंड के अनुसार राहू को बिना धड़ वाले सर्प के रूप में दर्शित किया गया है। राहू रथ पर आरूढ़ है और रथ आठ श्याम वर्णी घोड़ों द्वारा खींचा जाता है। समुद्र मंथन के दौरान एक असुर ने धोखे से दिव्य अमृत की कुछ बूंदें पी ली थीं। सूर्य व चंद्र ने उसे पहचान लिया व मोहिनी अवतार में श्री विष्णु को बता दिया। श्रीहरी ने उसका गला सुदर्शन चक्र से काट दिया। इससे उसका सिर अमर हो गया। यही राहु ग्रह बना और सूर्य-चंद्र से इसी कारण बैर रखता है। इसी बैर वश वह सूर्य-चंद्र पर ग्रहण लगता है। ग्रहण करने के पश्चात सूर्य-चंद्र उसके कटे गले से निकल आते हैं व मुक्त हो जाते हैं। ज्योतिषशास्त्र में राहु को बिजली की चमक कहा गया है। राहू वायु तत्व म्लेच्छ प्रकृति व नीले रंग पर आधिपत्य रखता है। शास्त्रनुसार राहू को कोयला, नीले फूल, हाथी, बिल्ली व सर्प अत्यधिक प्रिय हैं। राहू आसमानी बिजली व ध्वनि तरंगों पर विशेष अधिकार रखता है। इनकी ईष्ट मां सरस्वती हैं।
वैदिक ज्योतिष के पंचांग खंड अनुसार राहु वर्तमान में बुध की राशि कन्या में व सूर्य के नक्षत्र उत्तराफाल्गुनी में गोचर कर रहा है। राहू के पारगमन को लेकर पंचांगों प्रणालियों में कई मेतभेद हैं। अनेक पंचांगों में राहू का सिंह में गोचर रविवार दिनांक 17.01.16 दर्शाया गया है। कुछ दक्षिण भारतीय पंचांगों के अनुसार यह परगमन रविवार दिनांक 31.01.16 को दर्शाया गया है। शुद्ध खगोलीय गणितज्योतिष के द्रिक प्रणाली व लहरी अयनांश अनुसार राहु का सिंह राशि में गोचर शनिवार दिनांक 09.01.16 सुबह 10 बजकर 25 मिनट व 30 सेकण्ड्स पर होगा। सूर्य प्रधान सिंह राशि अग्नि तत्व है व राहु की शत्रु राशि भी है। यहां बृहस्पति पूर्व से विराजमान हैं। इस युति से गुरु चंडाल दोष का सृजन होगा। राहु का सिंह राशि में गोचर अधिकतर राशियों हेतु हितकारी नहीं रहेगा। इसका कुप्रभाव सभी द्वादश राशियों के साथ-साथ देश व समाज पर भी पड़ेगा। इस दौरान प्राकृतिक आपदाओं की भी भरमार रहेगी। भारत के पूर्वी व उत्तरी राज्यों में आतंकवादी घुसपैठ की घटनाएं बढ़ेंगी। किसी बड़े राजनेता पर जानलेवा हमला होने की आशंका भी है। अप्रैल से जुलाई के बीच भारत के उत्तरी व मध्य भाग में अत्यधिक गर्मी पड़ेगी व जुलाई से सितंबर से बीच प्रचंड बारिश पड़ने से बाड़ की संभावना भी है। आएं जानते हैं द्वादश राशियों पर इसके प्रभाव।
मेष: राहु के पांचवें गोचर से मन, प्रेम, संतान व एजुकेशन के क्षेत्र प्रभावित होंगे। कंफ्यूज रहेंगे। एजुकेशन व कैरियर में बाधाएं आएंगी। लव लाइफ चिंता देगी। प्रेग्नेंट फ़ीमलेस हेतु समय समस्यावान है। हैल्थ का ध्यान रखें व नियमित चेकअप करवाएं।
वृष: राहु के चौथे गोचर से मां, प्रॉपर्टी, कुटुंब व परिवार के क्षेत्र प्रभावित होंगे। माता को शारीरिक कष्ट होंगे। पारिवारिक सुख में कमी आएगी। पारिवारिक विवाद की स्तिथि बनेगी। प्रॉपर्टी में नुकसान होगा। गृहक्लेश की स्थिति बनेगी। सुखों में कमी आएगी।
मिथुन: राहु के तीसरे गोचर से बंधु, पराक्रम, मनोभाव व सोशल सर्किल के क्षेत्र प्रभावित होंगे। काम में मन लगेगा। शारीरिक श्रम में वृद्धि होगी। नेगेटिव दिशा में पराक्रम में वृद्धि होगी। अनैतिक कार्यों में रूचि बढेगी। भाई-बहनों से मन मुटाव होगा।
कर्क: राहु के दूसरे गोचर से धन, सुख, वाणी भोग, विलासिता क्षेत्र प्रभावित होंगे। धन नहीं टिकेगा। धनार्जन में कठिनाई आएगी। खर्चों में बढ़ौतरी होगी। वाणी कर्कश रहेगी। कटु वाणी संबन्धों में कड़वाहट लाएगी। भोग-विलासिता में कमी आएगी।
सिंह: राहु के पहले गोचर से मन, सेहत व बुद्धि के क्षेत्र प्रभावित होंगे। मन विचलित रहेगा। पारिवारिक तनाव रहेगा। दूसरों के पतन की भावना बढेगी। पार्टनर से दूरी बढ़ेगी। मेंटल टेंशन बढ़ेगी। अत्यधिक क्रोध रहेगा। महत्वपूर्ण निर्णय लेने से बचें।
कन्या: राहु के बाहरवें गोचर से व्यय, हानि, यात्रा, व्याधि के क्षेत्र प्रभावित होंगे। बड़ा धनग्मन होगा पर व्यय पर कंट्रोल रखें। दैनिक खर्चे अत्यधिक बढ़ेंगे। विदेशी कार्यों से अप्रत्याशित लाभ मिलने के योग हैं। अनावश्यक लंबी दूरी की यात्राएं होंंगी।
तुला: राहु के ग्यारवें गोचर से लाभ, धनागमन, नैतिकता व बड़े भाई-बहन के क्षेत्र प्रभावित होंगे। मन में अनैतिकता वास करेगी। अनैतिक मार्गों से बड़ा धनागमन होगा। बड़े भाई-बहन से वैचारिक मतभेद पैदा होंगे। विवाहेतर संबंध बनने के योग हैं।
वृश्चिक: राहु के दसवें गोचर से पिता, न्याय, करियर के क्षेत्र प्रभावित होंगे। कार्यस्थल पर वाद-विवाद के योग हैं। पिता से संबंध बिगड़ेंगे। कानूनी मामले परेशान करेंगे। करियर में अकस्मात बदलाव आने के योग हैं। सर्विसमैन को प्रमोशन मिलेगा।
धनु: राहु के नवें गोचर से भाग्य, धर्म, आस्था व प्रवती के क्षेत्र प्रभावित होंगे। मन में नास्तिकता रहेगी। भाग्य में बाधा उत्पन्न होगी। कार्यों में रुकावट आएगी। पिता से संबन्धों में कटुता आएगी। भाग्य कमज़ोर पड़ेगा। कर्मों में शिथिलता आएगी।
मकर: राहु के आठवें गोचर से काम सुख, देहिक सुख आयु, हैल्थ व यात्रा के क्षेत्र प्रभावित होंगे। स्वास्थ्य संबंधित समस्याएं उत्पन्न होंगी। सड़क दुर्घटना के योग हैं। गाड़ी चलाते समय सावधान रहें। जल से दूरी बनाएं। बदनामी का भय सताएगा।
कुंभ: राहु के सातवें गोचर से दांपत्य, सांझेदारी, व्यापार व जीवनसाथी के क्षेत्र प्रभावित होंगे। जीवनसाथी व बिज़नेस पार्टनर्स से संबंध बिगड़ेंगे। मानसिक तनाव रहेगा। विवाद से दूर रहें। बिज़नेस में रिस्क न लें। जूनियर्स से सतर्क रहें हानि के योग हैं।
मीन: राहु के छठे गोचर से स्वास्थ्य, रोग, शत्रु, व न्याय के क्षेत्र प्रभावित होंगे। हैल्थ में गिरावट आएगी। यकृत संबंधित बीमारियां के योग हैं। शल्य चिकित्सा के योग हैं। सामाजिक रुतबा बढ़ेगा। कानूनी मामलों में राहत मिलेगी। शत्रु परास्त होंगे।
आचार्य कमल नंदलाल
ईमेल: kamal
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